1 अप्रैल को पूरे देश मे शिक्षक कर्मचारी कला फ़ीता बांधकर मनाएंगे काला दिवस–सूर्य सिंह पंवार

देहरादून ब्यूरो-✍️जितेन्द्र गौड़

देहरादून-

पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन के तत्वाधान में पुरानी पेंशन बहाली को लेकर पूरे देश के कर्मचारी 1 अप्रैल को हाथ में कालाफीता बांधकर एनपीएस यूपीएस के विरोध में काला दिवस मनाएंगे। वर्ष 2005 के बाद सरकारी सेवाओं में अपनी सेवाएं देने वाले देश के शिक्षक/ कर्मचारियों को पुरानी पेंशन का लाभ नहीं मिल पा रहा है। पुरानी पेंशन बहाली को लेकर देश का शिक्षक कर्मचारी लगातार पिछले कई वर्षों से अपनी मांग को मनवाने के लिए संघर्षरत है। सरकारी कर्मचारी का कहना है की पुरानी पेंशन को बंद करना सरकार का बहुत गलत निर्णय है सरकारी सेवा में आने के बाद एक आस होती है कि पेंशन से बुढ़ापा अच्छा कटेगा। नई पेंशन स्कीम से कर्मचारियों के भविष्य की अनदेखी हो रही है नई पेंशन स्कीम पूर्ण रूप से शेयर मार्केट पर आधारित है जिससे पूरे देश की अर्थव्यवस्था भी डगमगा रही है। और देश को बड़ा नुकसान हो रहा है इससे पूंजीवाद लोगों को मजबूत किया जा रहा है। देश का कर्मचारी एनपीएस यूपीएस को किसी भी सूरत में मंजूर नहीं कर रहा है।
पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन NMOPS के द्वारा एनपीएस एवं यूपीएस के खिलाफ राष्ट्रव्यापी आंदोलन की रणनीति बनाई जा चुकी है जिसमें पूरे देश के कर्मचारियों को राष्ट्रीय कार्यकारिणी के द्वारा कार्यक्रम का शेड्यूल जारी कर दिया गया है।


1 मई को श्रमिक दिवस पर दिल्ली के जंतर मंतर पर विशाल प्रदर्शन होगा जिसमें देश के सभी कर्मचारी एक मंच पर आकर NMOPS के बैनर तले बुढ़ापे की लाठी पुरानी पेंशन बहाली का आगाज करेंगे।


सूर्य सिंह पंवार राष्ट्रीय सोशल मीडिया प्रभारी एवं प्रदेश प्रवक्ता पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन उत्तराखंड ने कहा है कि उत्तराखंड में भी पुरानी पेंशन बहाली को लेकर प्रदेश अध्यक्ष जीतमणी पैन्यूली महामंत्री मुकेश रतुडी के नेतृत्व में 10 अप्रैल को पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन, उत्तराखंड की स्थाई राजधानी गैरसैंण में हजारों कर्मचारी जुड़कर आक्रोश मार्च निकालकर सरकार को चेताने का काम करेगा ‌ आज देश का लाखों शिक्षक कर्मचारी ops बहाली के लिए पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन के राष्ट्रीय अध्यक्ष विजय कुमार बंधु एवं राष्ट्रीय महासचिव स्थित प्रज्ञा जी के नेतृत्व में पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर एक साथ जुड़ चुका है। देश के शिक्षक /कर्मचारी लगातार मांग करते आ रहे हैं कि देश में नेताओं के लिए अलग पेंशन है और कर्मचारियों के लिए अलग पेंशन है। जबकि सभी के लिए देश में समान पेंशन व्यवस्था होनी चाहिए। देश के कई सारे राजनेता एक नहीं बल्कि तीन तीन चार चार पेंशन ले रहे हैं इन्हें भी एक ही पेंशन दी जानी चाहिए। देश का शिक्षक कर्मचारी लगातार मांग कर रहा है कि एक राष्ट्र में समान नीति पेंशन को लेकर होनी चाहिए।