देहरादून ब्यूरो-✍️जितेन्द्र गौड़
डाकपत्थर शिशु विद्या मंदिर स्कूल प्रबंधन समिति ने बिना नोटिस 10 शिक्षकों एवं 2 चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को स्कूल से किया बाहर, सालों से स्कूल में शिक्षा दे रहे थे ये शिक्षक, इनमें से एक शिक्षिका 35 सालों से इस स्कूल में दे रही थी अपनी सेवाएं, नौकरी बहाली के लिये पीड़ित शिक्षकों ने शुरू किया धरना, एक शिक्षक आमरण अनशन पर…
विकासनगर-शिशु विद्या मंदिर स्कूल डाकपत्थर के प्रबंधन ने स्कूल में सालों से तैनात 10 शिक्षकों और 2 चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को बिना पूर्व सूचना दिये स्कूल से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। जबकि इनमें से एक शिक्षिका सपना गुप्ता 35 सालों से इस विद्यालय में अपनी सेवाएं दे रही थी। पूर्व में भी इस स्कूल का प्रबंधन इस तरह से मनमानी कर स्कूल स्टाफ़ के रोजगार के साथ खिलवाड़ कर चुका है। दरअसल, इस स्कूल की प्रबंधन कमेटी में पूर्व से जमी जमाई व्यवस्था अनुसार विभागीय कर्मचारी जमे हुए हैं, इस कमेटी द्वारा ही स्कूल के सभी निर्णय लिये जाते हैं, लिहाजा व्यवस्था में गड़बड़ी होना स्वाभाविक है और राज्य सरकार इस ओर ध्यान नहीं दे पा रही है।
स्कूल प्रबंधन के इस तानाशाही भरे निर्णय से इन शिक्षकों के सामने रोजी रोटी व सम्मान का बड़ा संकट खड़ा हो गया है,खुद ही सोच लीजिए जिस स्कूल में 35 वर्षों से सेवा दे रहे हों और अचानक आपको बाहर का रास्ता देखना पड़े तब आननफानन में आपको स्कूल गेट पर धरने के लिए मजबूर होना पड़े तो सोच लीजिए उन छात्रों के मन मस्तिष्क में कैसे सवाल उत्पन्न होंगे,क्या इसका जवाब प्रबन्धन समिति देगी।
फिर अचानक रोजगार छिन जाने की वजह से अब ये शिक्षक दर दर की ठोकर खा रहे हैं, ऐसे में जब कहीं कोई सुनवाई नहीं हुई तो इन शिक्षकों ने स्कूल के गेट पर अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया है, इतना ही नहीं इनमें से एक शिक्षक राजेश चौहान ने सभी शिक्षकों की नौकरी बहाल किये जाने तक अनिश्चितकालीन अनशन भी शुरू कर दिया है। वहीं शिक्षक रविन्द्र धीमान ने बताया कि ये हमारे अधिकारों का हनन है जब तक हमारी मांगे नहीं मानी जाती तब तक आंदोलन जारी रहेगा।